Wednesday, February 9, 2011

माया की यह कैसी माया ...

{चित्र गूगल से साभार}

वन्दे मातरम, समत आत्मीय जन आपके अपने गौरव का सादर अभिवादन स्वीकार करें !!
                      राजनीति और चाटुकारिता का चोली दामन का साथ सर्वविदित है | राजनीती और राजनीतिज्ञों में चाटुकारिता हमेशा से  महत्वपूर्ण स्थान पर रही है पर एक निश्चित सीमा तक यह सिमित रहे तो सहनीय हो सकता है पर कभी कभी पानी सर से ऊपर हो जाता है जिसके परिणाम घातक और अकल्पनीय होते हैं | जीवित व्यक्ति की मूर्ति और नोटों की माला तक तो सब कुछ ठीक ठाक था पर आज एक नया मामला सामने आया है, अपनी चरण पादुका को एक उच्चाधिकारी से साफ़ कराने का, और इस पर भी हद तो तब हो गयी जब मैडम माया की इस माया को भी बड़ी बेबाकी या बेशर्मी के साथ "सामान्य घटना" निरुपित किया जाने लगा |  यह विचारणीय है की कब तक हम मूकदर्शक बने ऐसी स्थिति का सामना करते रहेंगे और कब तक हमारे ये तथाकथित नेता इस प्रकार की हरकतों को अंजाम देते रहेंगे | जो व्यक्ति अपना ध्यान स्वयं नहीं रख सकते उससे हम कैसे यह उम्मीद करते हैं कि वे हमारे प्रदेश, हमारे देश, हमारी गरीब जनता, हमारे ऐतिहासिक पौराणिक धरोहरों का ध्यान रखेंगे, क्या उनसे विकास की अपेक्छा करना हमारी कमजोरी, हमारी लाचारी का परिचायक नहीं है ? इन प्रश्नों पर आज देश के प्रत्येक नागरिक को विचार करने की आवश्यकता है मुझे यह कहने में कतई संकोच नहीं कि न केवल विचार करने की वरन उचित निर्णय लेने की भी आवश्यकता है |

{चित्र गूगल से साभार}
                        हम लोकतान्त्रिक देश के बाशिंदे हैं हमारी आस्था लोकतंत्र में है और सदा रहेगी पर इसका यह अर्थ कतई नहीं है की हम असत्य का, अधर्म का, अन्याय का विरोध नहीं कर सकते | देश की वर्तमान परिदृश्य की आवश्यकता के अनुरूप प्रत्येक नागरिक को अब जागरूक होना होगा और अन्याय के खिलाफ आवाज़ उठाना होगा क्योंकि केवल नेताओं के बारे में टिपण्णी करने, उन्हें और उनकी नीतियों को भला बुरा कहने से स्थितियों में परिवर्तन की आशा करना व्यर्थ है | अब हमें स्वयं के विकास के साथ ही देश के विकास के विषय में भी चिंतन करना होगा और ऐसे नेताओं को हमें मुहतोड़ जवाब देना होगा, अपने सबसे प्रभावी हथियार का सार्थक उपयोग ही हमारा जवाब होगा और हमारा यह प्रभावी हथियार है हमारा वोट | हमें संकल्प लेना होगा की अपने वोट का अपने मत का सदुपयोग कर हम ऐसे घृणित कृत्यों को अंजाम देने वाले नेताओं को कभी सत्तासीन नहीं होने देंगे | मै यहाँ यह स्पष्ट अवश्य करना चाहूँगा की मेरा उद्देश्य किसी राजनैतिक दल अथवा राजनीतिज्ञ का विरोध करना नहीं वरन देश की जनता विशेषकर राष्ट्र शक्ति युवा वर्ग को जागरूक कर उनसे राष्ट्र के विकास की मुख्य धारा में शामिल होने की अपील करना है |
                           जय हिंद जय भारत 

6 comments:

  1. आपकी पोस्ट एक जागरण पोस्ट है!
    कृपया इसकी लिपि को गपरे रंग की करदें!
    पढ़ने में हम बूढ़ों को आसानी हो जाएगी!

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  2. आपकी पोस्ट एक जागरण पोस्ट है!
    कृपया इसकी लिपि को गहरे रंग (डार्क-कलर) की करदें!
    पढ़ने में हम बूढ़ों को आसानी हो जाएगी!

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  3. virodh to krna hi hoga, anyay, aniti aur anachar ka. achhi prastuti.

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  4. जो लोग अपनी ओकात भुल जाते हे, वो ऎसी हरकते ही करते हे, अब जनता को भी अपनी ओकात दिखनी चाहिये एक वोट भी ना दे इसे वर्ना बिहार से भी बुरा हाल होगा, इस राज्य का. धन्यवाद इस अति सुंदर लेख के लिये

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  5. जागरूक होने की जरुरत है जनता अपनी वोट की ताकत से कुछ भी कर सकती है| धन्यवाद इस अति सुंदर लेख के लिये|

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  6. sachchhi ko bebaakee se likhane ke liye badhaae

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